पेश है खास आपके के लिए रिश्तो और जज़्बातों से जुड़ी इजाज़त शायरी। किसी अपने से इजाज़त लेने और देने के लिए शायराना अंदाज हिन्दी शायरी के रूप में – तुम्हारी फिक्र करने के लिए हमारा रिश्ता होना जरूरी तो नही…एहसास की ही तो बात है,तुम्हारी इजाजत भी जरूरी नही…. इजाजत...
वाह रे जमाने तेरी हद हो गई, बीवी के आगे माँ रद्द हो गई !बड़ी मेहनत से जिसने पाला,आज वो मोहताज हो गई !और कल की छोकरी, तेरी सरताज हो गई ! बीवी हमदर्द और माँ सरदर्द हो गई !वाह रे जमाने तेरी हद हो गई.!!पेट पर सुलाने वाली, पैरों में सो रही !बीवी के लिए लिम्का,माँ पानी को...
एक अजीब दास्तान है मेरे अफसाने की, मैने पल पल कोशिश की उसके पास जाने की, किस्मत थी मेरी या साजिश थी ज़माने की, दूर हुई मुझसे इतना जितनी …उम्मीद थी उसके करीब आने...